हिमाचल ब्रेकिंग, शिमला। Himachal Cabinet Meeting हिमाचल प्रदेश के विधायक और मंत्री अब अपना आयकर खुद देंगे। अब तक मंत्रियों व विधायकों का आयकर विधानसभा देती थी। आयकर भरने पर हर साल लगभग 2.35 करोड़ रुपये खर्च होते थे। हिमाचल प्रदेश कैबिनेट की मीटिंग में मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने इसका प्रस्ताव पेश किया। इसके लिए मंत्रियों के वेतन और भत्ते हिमाचल प्रदेश अधिनियम 2000 और विधानसभा सदस्यों के भत्ते और पेंशन अधिनियम 1971 में संशोधन का फैसला लिया है। इसके लिए सरकार कानून बदलेगी, जिसके लिए अध्यादेश लाया जाएगा।
एसएमसी टीचर्स को राहत
मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट में स्कूल प्रबंधन समिति (एसएमएसी) के तहत रखे 2655 शिक्षकों को राहत प्रदान की गई है। मीटिंग एसएमसी शिक्षकों की सेवाओं को जारी रखने का निर्णय लिया गया है। बैठक में उन्हें एक साल का एक्स्टेंशन देने का फैसला लिया गया है।
5 हजार श्रमिकों की होगी भर्ती
मंत्रिमंडल की बैठक में लोक निर्माण विभाग में सड़कों के रखरखाव और अन्य शासकीय कार्यों के लिए 5000 श्रमिकों की भर्ती के लिए नीति के प्रारूप को स्वीकृति मिली। इनकी नियुक्ति 4500 रुपये मासिक मानदेय पर की जाएगी।
मुख्यमंत्री मोबाइल क्लीनिक योजना को मंजूरी
कैबिनेट मीटिंग में मुख्यमंत्री मोबाइल क्लीनिक योजना को मंजूरी प्रदान की गई है। योजना के मुताबिक हिमाचल प्रदेश के 68 विधानसभा क्षेत्रों में मोबाइल एंबुलेंस चलाई जाएंगी। इनमें विशेषज्ञ डॉक्टरों के अलावा फार्मासिस्ट और नर्सों की भी तैनाती होगी। इस मोबाइल एंबुलेंस में टेस्ट कराने और वेंटिलेटर की सुविधा दी जाएगी।
एचआरटीसी को 200 नई बसें
हिमाचल प्रदेश परिवहन निगम के बेड़े में 200 नई बसें और 5 टेंपो ट्रैवलर जोड़े जाएंगे। हिमाचल प्रदेश मंत्रिमंडल ने बसों की खरीद के लिए स्वीकृति प्रदान की है। इन बसों की खरीद के लिए निगम 6.71 फीसदी की दर ब्याज से 69 करोड़ रुपये लोन ले लिया जाएगा।
पुलिस कांस्टेबलों को राहत
मंत्रिमंडल की बैठक में पुलिसकर्मियों की कई साल पुरानी मांग को पूरा किया गया है। मीटिंग में वर्ष 2015 व 2016 में भर्ती सभी श्रेणियों के पुलिस कांस्टेबलों को पूर्व संशोधित उच्च पे बैंड व ग्रेड पे देने का फैसला लिया गया। फैसले के बाद पुलिसकर्मियों के पास संशोधित वेतनमान के तहत वेतन लेने का विकल्प खुला रहेगा।
मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना के तहत अनुदान बढ़ाया
कैबिनेट की बैठक में फैसला लिया गया है कि मुख्यमंत्री स्वावलंबन योजना के तहत महिलाओं व दिव्यांगों को मिलने वाले अनुदान को बढ़ाकर 35 प्रतिशत व अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति को मिलने वाले अनुदान को बढ़ाकर 30 प्रतिशत किया गया।